एनसीईआरटी (NCERT) ने ऑपरेशन सिंदूर पर क्लास 3 से 12 तक के बच्चों के लिए खास मॉड्यूल जारी किया है. इस मॉड्यूल में न सिर्फ ऑपरेशन के बारे में विस्तार से बताया गया है बल्कि बच्चों को ये भी समझाया गया है कि ये भारत की सुरक्षा और शांति के लिए कितना अहम था.
पाकिस्तान की भूमिका उजागर
मॉड्यूल में साफ लिखा गया है कि पाकिस्तान ने भले ही पहलगाम आतंकी हमले में अपनी भूमिका से इनकार किया हो, लेकिन ये हमला सीधे उसकी सेना और सियासी लीडरशिप के आदेश पर हुआ था. एनसीईआरटी ने इस मॉड्यूल में बताया है कि ऑपरेशन सिंदूर सिर्फ एक सैन्य कार्रवाई नहीं था, बल्कि शांति की रक्षा करने और शहीद हुए लोगों के सम्मान की कसम था.
NCERT नये मॉड्यूल के अनुसार इसमें न सिर्फ हमले और जवाबी कार्रवाई का जिक्र है, बल्कि बताया गया है कि यह ऑपरेशन भारत के लिए सम्मान और संकल्प का प्रतीक क्यों है.
क्या था ऑपरेशन सिंदूर का कारण?
22 अप्रैल 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में आतंकी हमला हुआ था. इसमें 26 निर्दोष लोग मारे गए, जिनमें एक नेपाली पर्यटक भी शामिल था. मॉड्यूल के मुताबिक, पाकिस्तान की राजनीतिक और सैन्य लीडरशिप ने इस हमले को अंजाम देने में सीधी भूमिका निभाई, हालांकि पाकिस्तान ने हमेशा की तरह इनकार किया.
नाम के पीछे की कहानी
मॉड्यूल में बताया गया है कि इस ऑपरेशन का नाम ‘सिंदूर’ रखा गया, ताकि शहीद सैनिकों की पत्नियों के त्याग और दर्द को सलाम किया जा सके.
भारत का जवाब
7 मई 2025 को भारत ने पाकिस्तान और पीओजेके (PoJK) में आतंकी ठिकानों पर मिसाइल और एयर स्ट्राइक की.
9 टारगेट चुने गए, जिनमें से 7 को सेना और 2 (मुरीदके और बहावलपुर) को एयरफोर्स ने तबाह किया.
ये ऑपरेशन सिर्फ 22 मिनट चला, जिसमें बड़ी संख्या में आतंकवादी ढेर हो गए.
खास बात ये रही कि स्ट्राइक में किसी आम नागरिक को नुकसान नहीं पहुंचा.
पाकिस्तान की नाकाम कोशिश
पाकिस्तान ने जवाब में ड्रोन और एयरबेस अटैक करने की कोशिश की, लेकिन भारत के एयर डिफेंस सिस्टम (S-400, आकाश, MRSAM) ने सब नाकाम कर दिया.
भारतीय सेना की ताकत
इस ऑपरेशन में राफेल, सुखोई-30MKI और मिराज-2000 जैसे लड़ाकू विमान इस्तेमाल किए गए. ISRO के 10 सैटेलाइट्स ने रियल-टाइम जानकारी दी. इसमें ‘मेक इन इंडिया’ तकनीक का भी जमकर इस्तेमाल हुआ जिसमें ब्रह्मोस और आकाश मिसाइल, स्मार्ट आर्टिलरी और भारतीय ड्रोन (Hawk, Scout, Eagle) शामिल रहे.
देश की सुरक्षा तैयारियां
ऑपरेशन के दौरान देशभर में “ऑपरेशन अभ्यास” के तहत ब्लैकआउट और ड्रिल कराई गईं, ताकि लोग आपात स्थितियों के लिए तैयार रह सकें.
दुनिया का मिला साथ
संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने भी बयान जारी कर आतंकवाद को कठोर दंड देने की मांग की. इस मॉड्यूल में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के शब्द भी शामिल किए गए हैं जिसमें उन्होंने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर सिर्फ एक मिलिट्री ऑपरेशन नहीं, बल्कि शांति की रक्षा और शहीदों का सम्मान करने का वादा है.
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