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    जिस तुर्की ने पाकिस्तान को भेजी मदद, उसी की कंपनी भारतीय एयरपोर्ट्स पर संभाल रही सिक्योरिटी ऑपरेशन

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    हाल ही में हुए भारत-पाक के बीच टकराव के वक्त तुर्की पाकिस्तान के साथ खड़ा नजर आया. इस दौरान तुर्की ने पाकिस्तान को सशस्त्र ड्रोन और ऑपरेटर मुहैया कराए है. गौर करने वाली बात यह है कि तुर्की की जॉइंट वेंचर कंपनी सेलिबी एविएशन (Celibi Aviation) दिल्ली, मुंबई और चेन्नई सहित आठ भारतीय एयरपोर्ट्स पर हाई सिक्योरिटी से जुड़ा कार्य संभालती है. यह भारत में सालाना 58 हजार फ्लाइट्स का मैनेजमेंट संभालती है. 

    सेलिबी एविएशन द्वारा भारत में किए जाने वाले कई कार्य खास तौर पर ग्राउंड हैंडलिंग, कार्गो प्रबंधन और एयरसाइड ऑपरेशन्स से जुड़े काम हैं, जो हाई सिक्योरिटी कार्य माने जाते हैं.

    किस तरह के काम करती है टर्किश कंपनी?

    सेलिबी एविएशन के कर्मचारी एयरसाइड ज़ोन में काम करते हैं, जो एयरपोर्ट्स के हाई सिक्योरिटी वाले क्षेत्र हैं और विमानों के सीधे संपर्क में आते हैं. सेलेबी के कर्मचारी कार्गो लॉजिस्टिक्स और पैसेंजर्स बैगेज भी संभालते हैं, जिसमें इंटरनेशनल फ्लाइट्स के लिए निर्धारित सामान शामिल हैं.

    तुर्की ने पाकिस्तान को क्या मदद भेजी?

    तुर्की ने पाकिस्तान को सैन्य सहायता मुहैया कराई, क्योंकि उसने 7 मई को ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के हिस्से के रूप में पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) में आतंकी शिविरों पर भारत द्वारा हमला किए जाने के बाद भारतीय वायु रक्षा प्रणाली को घेरने की कोशिश की थी.

    सूत्रों ने इंडिया टुडे टीवी को बताया कि न केवल सैन्य ड्रोन, बल्कि तुर्की ने पाकिस्तान को उन ड्रोन को संभालने के लिए ऑपरेटिव भी मुहैया कराए, जिससे पता चलता है कि वह भारत पर हमला करने के लिए पाकिस्तान के साथ शामिल हो गया है. तुर्की ने राष्ट्रपति रेचेप तैयप अर्दोआन के नेतृत्व में इस्लामी रुख अपनाया है और कश्मीर मुद्दे पर पाकिस्तान का पक्ष लिया है.

    यह भी पढ़ें: ट्रैवल बुकिंग कैंसिल, व्यापार को भी NO… PAK के दोस्त तुर्की-अजरबैजान को अब होगा तगड़ा नुकसान

    भारत ने साल 2023 में आए भीषण भूकंप के बाद ‘ऑपरेशन दोस्त’ शुरू करके तुर्की को राहत सामग्री मुहैया कराई थी. हालांकि, यह स्थिति तब और गंभीर हो सकती है, जब यह बात सामने आई कि इस्तांबुल ने ड्रोन को ऑपरेट करने के लिए कर्मियों को मुहैया कराया और भारत पर हमले में सहायता की.

    भारत के कई बड़े एयरपोर्ट्स पर हाई सिक्योरिटी कार्य करने वाली सेलेबी को भी खतरे के तौर पर देखा जा सकता है. भारत में सेलेबी एविएशन के जरिए सर्विस की जाने वाली एयरलाइन्स में इंडिगो और एयर इंडिया जैसी अन्य एयरलाइन्स शामिल हैं.

    इंडियन एयरपोर्ट्स पर सेलेबी का ऑपरेशन

    साल 2008 में अपनी शुरुआत के बाद से, सेलेबी ने भारत के विमानन सेक्टर में अपना विस्तार किया है. इसकी ऑफिशिय वेबसाइट के मुताबिक, यह 7,800 कर्मचारियों के मेनपॉवर के साथ सालाना 58 हजार से ज्यादा फ्लाइट्स और 5,40,000 टन कार्गो संभालती है.

    सेलेबी ने मुंबई इंयरनेशनल एयरपोर्ट पर एक जॉइंट वेंचर के साथ भारत में प्रवेश किया, जहां इसे ग्राउंड हैंडलिंग सेवाएं देने का अधिकार दिया गया था. एक साल के अंदर, सेलेबी ने आधिकारिक तौर पर भारत में अपने ऑपरेशन को दो संस्थाओं के तहत रजिस्टर किया: ग्राउंड हैंडलिंग के लिए सेलेबी एयरपोर्ट सर्विसेज इंडिया और नई दिल्ली इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर कार्गो सर्विसेज के लिए सेलेबी दिल्ली कार्गो टर्मिनल मैनेजमेंट इंडिया.

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    पिछले दशक में, इन दो शुरुआती स्टेशनों ने भारत भर में नौ एयरपोर्ट्स के नेटवर्क का विस्तार किया है. इनमें मुंबई, दिल्ली, कोचीन, कन्नूर, बैंगलोर, हैदराबाद, गोवा, अहमदाबाद और चेन्नई शामिल हैं.

    भारत में सेलेबी की सर्विसेज में यात्री सेवाएं, लोड कंट्रोल और फ्लाइट ऑपरेशन, रैंप सर्विसेज, सामान्य विमानन सेवाएं, कार्गो और डाक सेवाएं, गोदाम सेवाएं और ब्रिज ऑपरेशन शामिल हैं.

    Moneycontrol की रिपोर्ट के मुताबिक, सेलेबी एविएशन होल्डिंग्स अपना करीब 75 फीसदी कारोबार विदेशी जहाजों के साथ करती है, जबकि 25 फीसदी भारतीय एयरलाइन्स के साथ करती है.



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