More
    HomeHome'लोग अनकंफर्टेबल हों, इसलिए हम बनाते हैं कश्मीर फाइल्स जैसी फिल्में', ऐसा...

    ‘लोग अनकंफर्टेबल हों, इसलिए हम बनाते हैं कश्मीर फाइल्स जैसी फिल्में’, ऐसा क्यों बोलीं एक्ट्रेस पल्लवी जोशी?

    Published on

    spot_img


    फिल्ममेकर विवेक अग्निहोत्री जल्द अपनी ‘फाइल्स फिल्म सीरीज’ की तीसरी फिल्म ‘द बंगाल फाइल्स’ लेकर आ रहे हैं. कुछ समय पहले इसका ट्रेलर भी रिलीज किया गया जिसपर काफी बवाल खड़ा हुआ था. अब फिल्म की प्रोड्यूसर-एक्टर पल्लवी जोशी ने अपनी आने वाली फिल्म पर खुलकर बात करते हुए इसके बदले हुए नाम और हैरान करने वाली स्टोरीटेलिंग पर कमेंट किया है.

    क्यों बदला गया ‘द बंगाल फाइल्स‘ का नाम?

    फिल्म ‘द बंगाल फाइल्स’ पहले ‘द दिल्ली फाइल्स: बंगाल चैप्टर’ के नाम से रिलीज होने वाली थी. लेकिन इसकी रिलीज के कुछ महीनों पहले मेकर्स ने नाम बदल डाला जिससे काफी विवाद हुआ. अब एक्ट्रेस पल्लवी जोशी, जो फिल्म की प्रोड्यूसर हैं उन्होंने इसके पीछे का असली कारण साझा किया है. 

    बॉलीवुड बबल संग बातचीत में पल्लवी जोशी ने कहा, ‘हमें मालूम था कि हमें विभाजन पर एक फिल्म बनानी है. ये भी पता था कि उसमें डायरेक्ट एक्शन डे और नोआखाली दंगों का जिक्र होगा. लेकिन जबतक पूरी रिसर्च हमारे हाथ में नहीं आई, तबतक हमें नहीं मालूम था कि ये लगभग पूरा बंगाल में होने वाला है. इसलिए शुरुआत में इसका टाइटल द दिल्ली फाइल्स: बंगाल चैप्टर था. हां, ये बंगाल चैप्टर था. इसके बाद जब स्क्रिप्ट लिखी गई, तो यही टाइटल जारी रहा.’

    ‘मुझे कहीं ना कहीं लगा कि ये सही टाइटल है क्योंकि जो राजनीति है, वो दिल्ली से ही आती है. ये हमारा केंद्र है. मुझे शुरुआती टाइटल अच्छा लगा. लेकिन फिर ऐसा लगने लगा कि हम लोग बेकार में ही चीजें उल्झा रहे हैं. जब कहानी बंगाल की है, तो इसे सिर्फ द बंगाल फाइल्स बुलाते हैं. जैसे हमने द कश्मीर फाइल्स रखा था. इसलिए हमने इसे बदलने का फैसला किया.’ 

    विवेक अग्निहोत्री की फिल्मोग्राफी पर क्या बोलीं पल्लवी जोशी?

    पल्लवी जोशी ने आगे ये भी माना है कि उनकी फिल्में लोगों को असहज करती हैं और ऐसा करना उनका मकसद होता है. वो इस बात से पूरी तरह वाकिफ हैं क्योंकि वो लोगों को इतिहास के उन किस्सों से रूबरू कराना चाहती हैं. एक्ट्रेस का कहना है, ‘जो फिल्में हम बना रहे हैं, उससे लोग असहज होते हैं. ये बात हम जानते हैं और उसी नजरिए से ही हम फिल्में बनाते हैं. क्योंकि हम चाहते हैं कि लोग असहज हों.’

    ‘कुछ ऐसी बातें हैं जो आपके लिए जानना बेहद जरूरी है क्योंकि वो आपसे सिस्टेम द्वारा छिपाई गई हैं. जैसे मैं हमेशा कहती हूं, अगर इतिहास में कोई घटना घटी जिसके ऊपर पर्दा डाला गया, चाहे सरकार या राजा या पिछले जमाने में, हो सकता है उन्हें लगा हो कि कहीं इसके कारण परेशानी खड़ी हो सकती है, मैं समझती हूं कि कुछ चीजें अच्छे के लिए छिपानी पड़ती है.’

    ‘लेकिन कितनी? एक, दो, तीन? लेकिन कहीं तो कोई अंत हो. आप पूरे इतिहास को कैसे छिपा सकते हैं? आपने छिपाया है इसका मतलब है कि कुछ अच्छा नहीं था. कोई एजेंडा था. अगर एजेंडा है, तो किसके खिलाफ है? ये इतिहास किससे छिपाया जा रहा है?’ बात करें ‘द बंगाल फाइल्स’ फिल्म की, तो ये 5 सितंबर के दिन थिएटर्स में रिलीज होगी.

    —- समाप्त —-



    Source link

    Latest articles

    Earth’s last standing spacecraft around Venus shuts down, Akatsuki bids farewell

    Japan’s pioneering Akatsuki spacecraft, the last active probe orbiting Venus, has bid its...

    More like this

    Earth’s last standing spacecraft around Venus shuts down, Akatsuki bids farewell

    Japan’s pioneering Akatsuki spacecraft, the last active probe orbiting Venus, has bid its...